MBA Finance कोर्स : एमबीए फाइनेंस उन छात्रों के लिए सबसे बेहतर कोर्स है जो फाइनेंसियल मार्केट एंव फाइनेंस के क्षेत्र में करियर बनाना चाहते है। यह एक स्पेशलाइजेशन कोर्स है जिसे कोई भी उम्मीदवार ग्रेजुएशन के बाद कर सकता है। वर्तमान समय में, भारत में शीर्ष एमबीए कॉलेजों में एमबीए फाइनेंस सबसे लोकप्रिय स्पेशलाइजेशन है जिसमें राष्ट्रीय या राज्य स्तर की प्रवेश परीक्षाओं जैसे CAT, MAT, XAT, SNAP और इसी तरह के आधार पर एडमिशन होता है।
भारत के शीर्ष संस्थान में शामिल आईआईएम फाइनेंस या पीजीडीएम में पीजीपी के रूप में फाइनेंसियल मैनेजमेंट कोर्स प्रदान करते हैं। एमबीए फाइनेंस पूरा करने के बाद छात्रों का शुरुआती वेतन लगभग 6 से 7 लाख रुपये प्रतिवर्ष होता है। एमबीए फाइनेंस के बाद शीर्ष नौकरी की भूमिकाओ में फाइनेंसियल एनालिस्ट, फाइनेंसियल मैनेजर, बिज़नेस एनालिस्ट आदि शामिल हैं।
डिग्री | पोस्ट ग्रेजुएशन |
कोर्स | एमबीए फाइनेंस |
कोर्स का पूरा नाम | मास्टर ऑफ़ बिज़नेस एडमिनिस्ट्रेशन इन फाइनेंस |
अवधि | 2 वर्ष |
योग्यता | ग्रेजुएशन |
आयु | कोई आयु सीमा नहीं |
एडमिशन का तरीका | मेरिट या प्रवेश परीक्षा |
कोर्स फीस | 2,00,000 से 27,00,000 रुपये |
औसत वेतन | 6 से 24 लाख रुपये प्रति वर्ष |
नौकरी प्रोफाइल | फाइनेंसियल मैनेजर, बिज़नेस एनालिस्ट, फाइनेंशियल एनालिस्ट, रिस्क मैनेजर, मैनेजमेंट कंसल्टेंट, इंश्योरेंस मैनेजर और इक्विटी एनालिस्ट आदि। |
फाइनेंस में एमबीए करने में कितना खर्चा आता है? भारत के विभिन्न कॉलेज एंव विश्वविद्यालयों में एमबीए फाइनेंस कोर्स की फीस 2,00,000 से 27,00,000 रुपये के बीच होती है। एमबीए फाइनेंस मैनेजमेंट के बाद कुछ लोकप्रिय जॉब रोल्स है जिनमें छात्रों को भर्ती किया जा सकता है, उनमे फाइनेंशियल एनालिस्ट, रिस्क मैनेजर, मैनेजमेंट कंसल्टेंट, इंश्योरेंस मैनेजर और इक्विटी एनालिस्ट आदि शामिल है। इसमें फ्रेशर्स के लिए वेतन 6 लाख से 12 लाख रुपये के बीच होता है, जो आमतौर पर अनुभव और कौशल के साथ बढ़ता है।
एमबीए फाइनेंस कोर्स क्या है?
एमबीए फाइनेंस 2 साल की पोस्ट-ग्रेजुएट डिग्री है जिसे 4 सेमेस्टर में विभाजित किया गया है। इसमें फाइनेंस, मैनेजमेंट, निवेश और फाइनेंसियल मैनेजमेंट से संबंधित अध्ययन शामिल हैं। इस कोर्स के माध्यम से छात्र कंपनी की रिपोर्ट की जांच करना सीख सकते हैं, स्टॉक वैल्यू को अधिकतम करने के उपाय कर सकते हैं, और जोखिम और लाभ को संतुलित कर सकते हैं, साथ ही निवेश का विश्लेषण कर सकते है।
MBA in Finance कोर्स छात्रों को विभिन्न पहलुओं से संबंधित गहन अध्ययन प्रदान करता है जैसे कि मैनेजमेंट, कंट्रोल, निवेश और संसाधनों का मूल्यांकन। MBA in Finance दो वर्षीय पोस्ट ग्रेजुएशन कोर्स है जो छात्रों को विभिन्न फाइनेंसियल पदों के लिए तैयार करता है।
मास्टर ऑफ़ बिजनेस एडमिनिस्ट्रेशन (एमबीए) इन फाइनेंस के अध्ययन से, युवा या अनुभवी उम्मीदवारों को फाइनेंस की दुनिया में व्यापार के विभिन्न अवसर मिलते हैं।
एमबीए फाइनेंस कोर्स फाइनेंस जगत में विभिन्न अवसर प्रदान करता है। इस कोर्स के पूरा होने के बाद विभिन्न क्षेत्रों जैसे बीमा मैनेजमेंट अंतर्राष्ट्रीय फाइनेंस, टैक्स योजना और निवेश बैंकिंग आदि में औसत वेतन के रूप में 6 से 24 लाख रुपये प्रतिवर्ष का वेतन पा सकते है।
ये भी पढ़े : एमबीए प्रोजेक्ट मैनेजमेंट
एमबीए फाइनेंस कोर्स क्यों करना चाहिए?
फाइनेंस के क्षेत्र में महारत प्राप्त करने की चाह रखने वाले और करियर को बढ़ावा देने के इच्छुक छात्रों के लिए फायदेमंद ये एक बेहतरीन कोर्स है। विशेषज्ञ रिपोर्टों के अनुसार, बैंकिंग और फाइनेंस क्षेत्र आने वाले 6 से 8 वर्षों में 84 लाख लोगों के लिए नौकरी के अवसर पैदा करने वाला है। अन्य सभी एमबीए कोर्सेस में, एमबीए फाइनेंस कोर्स अच्छे वेतन के साथ नौकरी के सर्वोत्तम और बेहतर अवसर प्रदान करता है
भारत में फाइनेंस क्षेत्र की वृद्धि प्रति वर्ष लगभग 8.5% की दर से बढ़ रही है। इसका मतलब यह है कि भारत में एमबीए फाइनेंस में आपके करियर की जबरदस्त गुंजाइश है।
सरकारी और विभिन्न प्राइवेट क्षेत्रों में फाइनेंसियल एनालिस्ट की उपयोगिता बहुत महत्वपूर्ण है। क्योंकि फाइनेंस एक ऐसा क्षेत्र है जो किसी विशिष्ट उद्योग तक ही सीमित नहीं है, बल्कि अत्यधिक क्षेत्रो में फैला हुआ है और लगभग सभी क्षेत्र इस पर निर्भर है।
बोस्टन कंसल्टिंग ग्रुप, मैकिन्से एंड कंपनी, बार्कलेज, केपीएमजी, बैन एंड कंपनी, जेपी मॉर्गन चेस एंड कंपनी, स्टेट बैंक ऑफ इंडिया, एचडीएफसी शीर्ष कंपनियां हैं जो एमबीए फाइनेंस ग्रेजुएट्स की भर्ती करती हैं।
एक एमबीए फाइनेंस फ्रेशर जिसने टियर 2 बिजनेस स्कूल से पोस्ट ग्रेजुएशन किया है, उसे औसतन 6 से 8 लाख रुपये प्रति वर्ष का वेतन मिल सकता है।
MBA Finance कोर्स के Types
एमबीए छात्रों फाइनेंस भारत के विभिन्न संस्थानों द्वारा विभिन्न तरीकों से पेश किया जाता है जिनमें फाइनेंस में लोकप्रिय एमबीए नीचे दिए गए हैं:
रेगुलर एमबीए फाइनेंस : फुल-टाइम एमबीए दो साल का होता है जिसमें फाइनेंस पर विशेष ध्यान दिया जाता है। यह पाठ्यक्रम उन छात्रों के लिए उपयुक्त है जो फाइनेंस की दुनिया में दक्षता विकसित करना चाहते हैं। रेगुलर मोड में कक्षाएं दिन के दौरान सप्ताह के दिनों में आयोजित की जाती हैं, जिसके लिए उम्मीदवार का नियमित रूप से कॉलेज जाना अनिवार्य है।
ऑनलाइन एमबीए फाइनेंस : यदि कोई वर्किंग प्रोफेशनल अपने करियर में नई ऊंचाई हासिल करने का विचार कर रहे हैं, तो उन्हें फाइनेंस में ऑनलाइन एमबीए करने पर विचार करना चाहिए। इसके लिए उन्हें अपने कामकाजी जीवन से समझौता नहीं करना पड़ता है क्योंकि इसमें ई – लर्निंग के माध्यम से पढ़ाया जाता है। इसमें उम्मीदवार सीधे एडमिशन ले सकते है।
डिस्टेंस एमबीए फाइनेंस : फाइनेंस में डिस्टेंस एमबीए कोर्स पूरा होने में दो से तीन साल लगते हैं और मैनजमेंट कौशल को बढ़ाते हुए फाइनेंस क्षेत्र के बारे में जानकारी प्रदान करने के लिए सप्ताह में एक बार कक्षाएं आयोजित की जाती है और इस कोर्स में एडमिशन आमतौर पर योग्यता के आधार पर होता है।
एग्जीक्यूटिव एमबीए फाइनेंस :- एग्जीक्यूटिव एमबीए फाइनेंस एक ऐसा कोर्स है जो 24 महीने तक चलता है। रेगुलर एमबीए के विपरीत, जो सभी प्रकार के छात्रों के लिए उपयुक्त है, जबकि एग्जीक्यूटिव एमबीए केवल उन प्रोफेशनल्स के लिए डिज़ाइन किया गया है जिनके पास कुछ वर्षों का कार्य अनुभव है और वे मैनेजमेंट भूमिकाओं में प्रगति करना चाहते हैं।
ये भी पढ़े : एमबीए बैंकिंग
MBA Finance कोर्स : न्यूनतम योग्यता
फाइनेंस में एमबीए करने के लिए क्या-क्या चाहिए? उम्मीदवारों को एमबीए फाइनेंस में एडमिशन पाने के लिए किसी भी क्षेत्र में ग्रेजुएशन की डिग्री उत्तीर्ण करनी चाहिए।
एडमिशन के लिए आवश्यक न्यूनतम प्रतिशत कॉलेज से कॉलेज में भिन्न होते है हालंकि अधिकतर कॉलेज ग्रेजुएशन स्तर पर 40 से 50% अंक या समकक्ष CGPA की मांग करते है। साथ ही आरक्षित श्रेणी के उम्मीदवारों को 5% की छूट दी जाती है।
MBA Finance कोर्स : एडमिशन प्रक्रिया
अधिकतम एमबीए फाइनेंस कोर्स में एडमिशन राष्ट्रीय या राज्य स्तरीय प्रवेश परीक्षाओं के आधार पर किया जाता है, जिनमें CAT, XAT, MAT, ATMA लोकप्रिय प्रवेश परीक्षा शामिल हैं। प्रवेश परीक्षा उत्तीर्ण करने के बाद छात्र के प्रदर्शन का विश्लेषण करने के लिए एक ग्रुप डिस्कशन और व्यक्तिगत साक्षात्कार का दौर भी आयोजित किया जाता है। जिनमें सफलता हासिल करने के उपरांत एडमिशन की अनुमति दे दी जाती है।
हालंकि कुछ कॉलेज छात्रों की योग्यता के आधार पर भी एमबीए फाइनेंस कोर्स में एडमिशन की अनुमति देते है जिनमें छात्रों के ग्रेजुएशन में स्कोर के आधार पर एडमिशन की अनुमति दी जाती है।
ये भी पढ़े : एमबीए मार्केटिंग
एमबीए फाइनेंस कोर्स के भविष्य में अवसर
एमबीए फाइनेंस फ्रेशर्स को उच्च पैकेज वाली नौकरियां प्रदान की जाती है, Naukri.com के अनुसार एमबीए फाइनेंस फ्रेशर्स के लिए औसत शुरुआती वेतन लगभग 3,00,000 से 7,00,000 प्रति वर्ष के बीच है। कुछ वर्षो के अनुभव के साथ, वह 12,00,000 से 15,00,000 प्रति वर्ष से अधिक वेतन कमाना करना शुरू करते हैं।
एमबीए फाइनेंस के बाद आप एक फ्रेशर के रूप में निम्न प्रोफाइल में काम कर सकते है:
- फाइनेंस एनालिस्ट
- जूनियर अकाउंटेंट
- लीड जनरेशन इनवेस्टर्स
- कॉर्पोरेट फाइनेंस
- इक्विटी एनालिस्ट आदि